कोडरमा।कोडरमा के बहुचर्चित सुभद्रा देवी हत्याकांड के मुख्य आरोपी प्रोफ़ेसर राजेश्वर मिश्रा को मंगलवार को अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश ने दोषी पाते हुए उम्रकैद की सजा सुनाया।प्रोफेसर आर मिश्रा कोडरमा के एक मात्र अंगीभूत जे.जे. कॉलेज में इंग्लिश के प्रोफ़ेसर थे। चर्चित सुभद्रा देवी हत्याकांड में मंगलवार को सेशन कोर्ट ने आरोपी प्रोफ़ेसर आर मिश्रा को आजीवन कारावास का सजा सुनाया है। आरोपी को अतिरिक्त दंड के तहत 25 हजार रुपये का जुर्माना और पीड़ित परिवार को 50 हजार रुपये देने का आदेश दिया है।बता दें कि 28 सितम्बर 2011 में प्रोफ़ेसर के बंद घर से सुभद्रा देवी का शव प्लास्टिक के बोरे में बंद मिला था ।पुलिस से मिली जानकारी के मुताबिक, प्रोफेसर और सुभद्रा देवी का एक दूसरे के घर आना जाना था।पोस्टमार्टम में उसकी बेहरमी से हत्या की बात सामने आई थी। शव मिलने के बाद पुलिस ने हत्या का आरोपी प्रोफ़ेसर मिश्रा को बनाया जो उस वक्त फरार थे ,शव मिलने के तीन दिनों के बाद प्रोफ़ेसर ने बड़े ही नाटकीय ढंग से 1 अक्टूबर को कोडरमा कोर्ट में सरेंडर कर दिया,जहां से उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। तभी से प्रोफ़ेसर लगातार जेल में ही बंद थे।उन्हें केवल तीन बार इलाज के लिए सशर्त जमानत मिली थी।जेल में रहने के दौरान कालेज से उन्हें सेवानिवृत कर दिया गया। लगभग 5 साल क़ानूनी लड़ाई लड़ने के बाद कोर्ट ने उन्हें दोषी पाया और सजा सुनाई। प्रो. मिश्रा के वकील ने आगे अपील की बात कही है। कोर्ट ने प्रोफ़ेसर को धारा 302 और 201 के तहत दोषी पाते हुए आजीवन कारावास की सजा सुनाया है। चार साल बाद प्रोफ़ेसर को मिली सजा पर सुभद्रा देवी की मां लक्ष्मी देवी ने ख़ुशी जाहिर करते हुए कहा कि प्रोफ़ेसर ने जिस तरह से हत्या को अंजाम दिया था। उसे फांसी की सजा मिलनी चाहिए थी, वहीं लक्ष्मी देवी ने हत्याकांड में शामिल नौकर को भी सजा देने की मांग की है।हलांकि जहाँ एक ओर कोर्ट के फैसले से वो खुश थी तो दुसरी ओर बेटी की मौत को याद कर फफक-फफक कर रो पड़ी।