Jamshedpur news:गुरु नानक स्कूल में अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस मना मिले सुर मेरा तुम्हारा तो सुर बने हमारा

945

जमशेदपुर। गुरु नानक उच्च विद्यालय में सोमवार को अंतर्राष्ट्रीय मातृभाषा दिवस मनाया गया।
इसके ऐतिहासिक तथ्य को रखते हुए 21 फरवरी 1952 को बांग्लादेश के भाषाई नीति आंदोलन के दौरान शहीद हुए छात्रों नागरिकों को श्रद्धांजलि अर्पित की गई और विद्यार्थियों से प्रण कराया गया कि वे अपनी मातृभाषा का सम्मान करेंगे और घरों में ज्यादा से ज्यादा व्यवहार में लाएंगे।
भाषा को ईश्वरीय देन माना गया और कहा गया कि यह लोगों को समाज को देश को दुनिया को जोड़ने में महत्वपूर्ण कड़ी का काम करती है।
इसमें बताया गया कि जन्म के बाद जो हम भाषा बोलते हैं वही हमारी मातृभाषा है। हमारा सौभाग्य है कि भारत देश में पैदा हुए हैं जहां की विविध भाषाई, धार्मिक, सांस्कृतिक इसे दुनिया में नायाब बनाती है और विविधता में एकता ही इसे खूबसूरती प्रदान करती है। भारत में 1395 भाषाएं बोली जाती है।
गुरुवर रविंद्र नाथ टैगोर की रचना “एकला चलो”के माध्यम से स्वतंत्रता आंदोलन का इतिहास तथा पंडित भीमसेन जोशी की रचना, “मिले सुर मेरा तुम्हारा तो सुर बने हमारा” देश की विविधता में एकता को दर्शाया गया।
सफल आयोजन में शिक्षिका श्वेता त्रिपाठी, शिक्षिका चरणजीत कौर शिक्षिका रंजीत कौर, शिक्षिका राजेंद्र कौर, छात्रा दीपिका चक्रवर्ती, छात्रा गुड़िया कुमारी एवं छात्रा कोमल कुमारी एवं समूह की सराहनीय भूमिका रही।

Comments are closed.

This website uses cookies to improve your experience. We'll assume you're ok with this, but you can opt-out if you wish. Accept Read More