
संवाददाता,जमशेदपुर,5 अगस्त
आंखिरकार कमल के भागने के बाद जादूगोड़ा मे आत्महत्या का दौर शुरू हो ही गया , करीब दो साल पहले जादूगोड़ा थाना क्षेत्र के सिताडांगा निवाशी लक्ष्मण मांझी ने कमल सिंह को चार लाख रूपये दिये थे , कमल सिंह रूपये देने के कुछ ही माह बाद फरार हो गया इसके बाद लक्ष्मण को इससे गहरा सदमा लग गया और वे पैसो की चिंता मे विक्षिप्त से रहने लगे थे और अंत मे परेशान होकर उन्होने सोमवार की रात गले मे फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली ।
घटना के संबंध मे जानकारी मिलने पर जादूगोड़ा पुलिस घटना स्थल पर पहुँचकर मामले की जाँच शुरू कर दी एवं पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए घाटशिला भेज दिया , लक्ष्मण ने एक साल पहले ही अपने बड़े बेटे मधु मांझी को वीआरएस के तहत नौकरी दिया है उनका एक और पुत्र है जिसका नाम सिद्धों मांझी है ।
बड़े बेटे मधु मांझी ने पुलिस को बताया की सोमवार की रात खाना खाकर सभी सो गए और रात करीब 12 बजे माँ सुकून मांझी ने बेटे को पिता घर मे नहीं होने की जानकारी दी। , जब घर के लोगो ने सभी जगह खोजबीन की तो उन्होने पाया की बाथरूम मे रस्सी के सहारे पिताजी लटके हुए है और इसके बाद पूरी घटना की जानकारी उन्होने चाचा अर्जुन मांझी को दी ।
कमल के भागने के बाद से वे विक्षिप्त से हो गए थे और उनका इलाज़ यूसिल अस्पताल से लेकर जमशेदपुर मे हो रहा था और फिर रांची मे भी उनका इलाज़ किया जा रहा था ।
इस संबंध मे थाना प्रभारी अरविंद प्रसाद यादव ने बताया की शव को कब्जे मे लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया गया है ।
गौरतलब है कि जादुगोङा के चिटफंड कंपनी चलानेवाले कमल सिह जादुगोङा और इसके आसपास क्षेत्रो के लोगो का करोङो रुपया लेकर फरार हो चुके है लगभग एक साल होने को लेकिन पुलिस को कमल को गिरफ्तार करने मे कोई सफलता नही पाई है।
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