दहशत के वे डेढ़ घंटे जो तीन दिन बाद भी बरकरार है मुझे नयी जिंदगी मिली है – मृदुल कान्ति बारीक

54

सतोष अग्रवाल,जमशेदपुर ,09 मई ,
मंगलवार की रात करीब 11.45 बजे नक्सलियो द्वारा बागजाता माइंस से यूसिल जादूगोड़ा माइंस जा रहा यूरेनियम अयस्क लदा हाईवा मे आग लगा दिया गया था इस घटना को लगभग तीन दिन हो चुके है लेकिन अभी तक इस घटना से हाइवा का चालक बुरी तरह दहशत मे है ……..घटना की पूरी कहानी हाईवा चालक की जुवानी हाईवा चालक मृदुल कान्ति बारीक ने दैनिक जागरण को बताया की वो मंगलवार की रात को हर दिन की भांति हाईवा संख्या जेएच05यू-4537 लेकर जादूगोड़ा माइंस जा रहा था की इसी बीच बांकड़ा पुलिया के नजदीक हाईवा के सामने कुछ लोग आ गए और गाड़ी रोकने के लिए कहा मैंने जब गाड़ी रोकी तो उन्होने मुझे गाड़ी से उतरने को कहा मेरे साथ खलासी भी था मैंने उतरते ही पूछा की मेरी क्या गलती है इसके बाद उन्होने मुझसे कहा की हम मजदूरो के हक के लिए लड़ाई लड़ रहे है और हमने पोस्टर भी साटा था गाड़ी नहीं चलाने के लिए लिखा हुआ था इस मोमेंट मे आप गाड़ी क्यों चला रहे है मैंने कहा की मे बहुत गरीब हूँ तो उन्होने कहा की ठीक है आप चले जाइए इसके बाद मेरे सामने ही उन्होने गाड़ी के टंकी मे कुल्हाड़ी से मारकर फोड़ दिया और मेरे सामने ही गाड़ी मे आग लगा दिया मुझे बहुत दर लग रहा था और रात का समय था किसी तरह डेढ़ किलोमीटर पैदल चलते हुए मे बगजाता माइंस पहुंचा और वहाँ के सुरक्षा अधिकारी आरके सिंह को पूरा बता बताया , उसने बताया की एक साल पहले ही मेरे बेटे की मौत आदित्यपुर मे डंपर से कुचल कर हो गयी थी , इस सब से मे बहुत डर गया हूँ और आज भी पूरा घटना को याद कर मेरा रोंगटा खड़ा हो जाता है यह मेरा दूसरा जन्म है , उसने बताया की नक्सलियो ने उसे कोई हानी नहीं पहुंचाया और बहुत अच्छा से बता किया , इस पूरे घटना से चालक का परिवरा भी दहशत मे है और उन्होने उसे गाड़ी चलाने से मना कर दिया है , चालक ने आगे बताया की अब वो रात मे गाड़ी कभी नहीं चलाएगा , उसने कहा की मुझे अभी भी डर लग रहा है ।

Comments are closed.

This website uses cookies to improve your experience. We'll assume you're ok with this, but you can opt-out if you wish. Accept Read More