
संवाददाता,नई दिल्ली,07 मई
किसी विमान के दुर्घटनाग्रस्त हो जाने या लापता हो जाने के बाद उसकी खोज या बचाव अभियान के दौरान होने वाली परेशानियों को देखते हुए डीजीसीए ने एक नई गाइडलाईन जारी की है। एयर सेफ्टी सरकुलर के रूप में जारी इस सरकुलर से यात्री या परिवहन विमानों की रियल टाइम ट्रेकिंग हो सकेगी। 8 मार्च, 2014 को मलेशियाई विमान(उड़ान संख्या एमएच-370) के गायब होने के बाद वहां के परिवहन मंत्रालय द्वारा जारी एक प्रारंभिक रिपोर्ट में बताया गया है कि उस विमान में रियल टाइम ट्रेकिंग की व्यवस्था नहीं थी, इसलिए आज तक इसका पता नहीं चल पाया है।

डीजीसीए ने 05 मई, 2014 को जारी सेफ्टी सरकुलर संख्या-4 में सभी विमानन कंपनियों को ऑनबोर्ड एयरक्राफ्ट कम्यूनिकेशन एड्रेसिंग एंड रिपोर्टिंग सिस्टम (एसीएआरएस) /आटोमेटिक डिपेंडेंट सर्विलांस- ब्रॉडकास्ट (एडीएस-बी) प्रणाली का उपयोग करने को कहा है। ऑपरेटरों को विमान में ऐसे विशेष उपकरण लगाने को भी कहा गया है जिससे एसीएआरएसस/एडीबी-एस कवरेज विहीन क्षेत्र में भी ट्रेकिंग हो जाए।
पिछले पांच वर्षों के दौरान ऐसे दो मामले सामने आए है जबकि बड़े वाणिज्यिक परिवहन विमान गायब हो गए और वह कहां से गायब हुए, उसका पता नहीं चल पाया है। हालांकि दूर-दराज के इलाकों में उड़ान भरने वाले वाणिज्यिक विमानों में इस तरह के उपकरण लगाने के लिए अच्छी-खासी रकम खर्च की जा रही है पर अभी तक इसकी कोई वैधानिक बाध्यता नहीं है। लेकिन मलेशियाई विमान के हाल में ही लापता होने के बाद डीजीसीए ने आवश्यक कदम उठाया है।