सभी कुष्ठ रोग से ग्रसित दिव्यांग रोगीयों का दिव्यांग प्रमाण पत्र तथा यू0डी0आई0डी कार्ड बनाया जाएगा ताकि सभी को पेन्शन से जोड़ा जा सके। कुष्ठ रोग का जल्द पहचान कर इलाज शुरू करने से दिव्यांगता से बचाया जा सकता है -डॉ0 राजीव, जिला कुष्ठ परामर्शी, पूर्वी सिंहभूम।
जमशेदपुर.-
जिला कुष्ठ परामर्शी, डॉ0 राजीव लोचन महतो ने पोटका स्थित दवांकी कुष्ठ आश्रम के अस्पताल का दौरा किया।उन्होंने अस्पताल में उपचारित कुष्ठ रोगियों का हाल चाल पुछा। उन्होंने बताया कि जिला के सभी दिव्यांग कुष्ठ रोगियों का दिव्यांग प्रमाण पत्र तथा यूडीआईडी कार्ड बनाया जाएगा ताकि सभी लोगो को दिव्यांग पेन्शन का लाभ मिले ।उन्होंने मुख्यमंत्री चिकित्सा सहायता योजना के बारे मे भी बताया। इस योजना के अंतर्गत जिला के अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति, अल्पसंख्यक तथा पिछड़ा वर्ग के कुष्ठ रोगियों जिन्हें अल्सर, ग्रेड ll के मरीजों,आर0सी0एस के मरीजों को कल्याण विभाग से योजना का लाभ मिलेगा।उन्होंने बताया कि कुष्ठ रोगियों से भी समान्य रोगी जैसा व्यवहार करने तथा नियमित रूप से एमडीटी दवा का सेवन करने से यह बिल्कुल ठीक हो सकता है।उन्होंने मौके पर उपस्थित लोगों को कुष्ठ रोग के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि कुष्ठ रोग छुने से नहीं फैलता है और न यह पिछले जन्म का पाप से कोई संबंध है।इसका ईलाज सभी सरकारी स्वास्थ केन्द्रों में निशुल्क है तथा दवा एवं परामर्श भी निशुल्क उपलब्ध हैं।उन्होंने बताया की कुष्ठ रोग का जल्द इलाज कराने से दिव्यांगता से बचाया जा सकता है। उन्होंने जिला में चल रहे सक्रिय कुष्ठ रोगी खोज तथा नियमित निगरानी-2022 के बारे में चर्चा की ।
डेमियन फाउंडेशन के दुर्योधन बागती ने कुष्ठ रोग से दिव्यांग हुए मरीजों को सेल्फ केयर करवाया गया तथा सेल्फ केयर के महत्व की जानकारी भी दी गई।कुष्ठ रोगियों को गर्म चीजों को हाथों से न पकड़ने तथा ठण्डे मे आग सेकने मे सावधानी बरतने को बोला गया।उन्होंने रिकन्सट्रक्टिभ सर्जरी के बारे में बताया गया। इस सर्जरी के द्वारा कुष्ठ रोगियों के हाथ, पैर तथा आँखों की दिव्यांगता को दूर किया जाता है।इस कार्यक्रम को सफल बनाने में धनीराम महतो,राखोहोरी महतो,सरयू तथा रोयबू पुरान का योगदान रहा।
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