पटना- राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के द्वारा न्यायपालिका में महिला, एससी/एसटी और ओबीसी जजों की कम संख्या पर चिंता जायज:- जीतन राम मांझी

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पटना।
हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा (से0) के राष्ट्रीय अध्यक्ष सह पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने देश के महामहिम राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के द्वारा न्यायपालिका में महिला एससी/एसटी और ओबीसी जजों की कम संख्या पर उनकी चिंताको जायज ठहराते हुए उनका समर्थन किया है |
श्री मांझी ने लोअर कोर्ट हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में कुल 17 हजार जज हैं इनमें महिलाएं सिर्फ 4700 हैं हालात सुधारने की दिशा में फौरन कदम उठाने की सलाह राष्ट्रपति महोदय द्वारा सराहनीय कदम है एससी एसटी कमीशन के मुताबिक 2018 में देश के 123 हाईकोर्ट में 850 जजों में सिर्फ 24 जज एससी/सटी थे | 14 हाईकोर्ट में एक भी एससी/एसटी जज नहीं था | सुप्रीम कोर्ट ने 2015 में उत्तराखंड के जिला जज कांता प्रसाद की कोर्ट में आरक्षण की अर्जी खारिज की थी | कहा था कि सुप्रीम कोर्ट और हाईकोर्ट समानता के सिद्धांत पर काम करते हैं |
श्री मांझी ने कहा कि इन सभी विषयों पर महामहिम राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद जी का चिंता जायज है हम उनके इन बातों का समर्थन करते हैं | इन विषयों पर विशेष पहल होनी चाहिए |

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