*योग के मर्मग्यों द्वारा एक से बढ़कर एक योगिक क्रियाओं का किया गया प्रदर्शन, लोगों को दी गयी योग के अलग-अलग आयामों की अत्यंत सारगर्भित जानकारी*
*लोगों ने भी बड़े उत्साह से किया योगा प्रोटोकॉल का अभ्यास*
*जयंती ओझा जी के सुमधुर आर्ट ऑफ़ लिविंग भजनों की प्रस्तुति ने लोगों को किया भक्तियोग से सराबोर*
*कई कॉर्पोरेट हाउस के लोग भी हुए शामिल*
*आयुष मंत्रालय भारत सरकार द्वारा जारी “100 डेज 100 सिटीज 100आर्गेनाईजेशन्स” नामक अनुठे योगा काउंट डाउन प्रोग्राम के तहत जमशेदपुर में आयोजित इस कार्यक्रम की चारों ओर हो रही है चर्चा*
जमशेदपुर।
दि आर्ट ऑफ़ लिविंग जमशेदपुर चैप्टर द्वारा आयुष मंत्रालय भारत सरकार व मोरारजी देसाई राष्ट्रीय योग संस्थान के सहयोग से अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस 2022 के पूर्व योग के प्रति जन जागरूकता के प्रचार प्रसार हेतु जारी योग अभ्यास की अनूठी श्रृंखलाबद्ध योगा काउंट डाउन कार्यक्रम “100डेज 100सिटीज 100आर्गेनाईजेशन्स” के तहत जमशेदपुर के चैम्बर भवन में आयोजित “योगोत्सव -2022” नामक बहुचर्चित कार्यक्रम आज सुसंपन्न जिसमें हज़ारों की संख्या में लोगों ने ऑफलाइन एवं ऑनलाइन मोड़ में भाग लेकर योग किया, योग सीखा, योग के मर्मज्ञ विद्वानों को सुना व उनके योगिक प्रदर्शनों से रूबरू होने का सुअवसर प्राप्त किया ।
कार्यक्रम का शुभारम्भ जमशेदपुर की अग्रणी समाजसेविका सह भाजपा नेत्री श्रीमती रीता मिश्रा जी के करकमलों द्वारा किया गया। उन्होंने बड़े उत्साह से पूरे कार्यक्रम में अपनी सहभागिता भी निभाई।
सर्वप्रथम आर्ट ऑफ़ लिविंग के वरीय योग प्रशिक्षक श्री केशव पटेल जी ने कार्यक्रम में बड़ी संख्या में उपस्थित योग प्रेमियों को कॉमन योगा प्रोटोकॉल का बड़े बेहतरीन ढंग से अभ्यास कराया।
इसके उपरांत व्यवहारिक जीवन में योग के महत्व विषयक विचार गोष्ठी का आयोजन किया गया जिसमें योग के अनेक मर्मग्य विद्वानों ने अत्यन्त सरल शब्दों में अपने विचार रखे व अपने यौगिक क्रियाओं के प्रदर्शनों से लोगों को मन्त्रमुग्ध कर दिया।
विमेंस कॉलेज, जमशेदपुर की योग संकाय सदस्य सह बाल योग मित्र मंडली के संस्थापक सह संयोजक श्री शुभाशीष भादुड़ी जी ने काफ़ी रोचक ढंग से लोगों को ध्यान व प्राणायाम के महत्त्व के बारे में बताया। साथ ही, मानसिक तनाव प्रबंधन में उपयोगी ध्यान विधियों के बारे में काफ़ी उपयोगी जानकारी दी। साथ ही, उन्ही के नेतृत्व में विमेंस कॉलेज की छात्राओं ने जिस सटीकता के साथ सूर्य नमस्कार सहित कई प्रणायामों व गूढ यौगिक क्रियाओं का शानदार प्रदर्शन किया वह काफ़ी प्रेरणादायक रहा। इसने विशेष कर महिलाओं को नियमित योग अभ्यास हेतु एक अमिट प्रेरणा से भर दिया।
अगली कड़ी में प्रसिद्ध प्राकृतिक चिकित्सक सह आरोग्य भारती के प्रांतीय योग प्रमुख योगाचार्य डॉ महेश प्रसाद आत्मानंद जी ने लोगों को योग में षटकर्म के महत्त्व पर बेहद उपयोगी जानकारी साझा की। इसके द्वारा असाध्य बीमारियों को दूर करने से लेकर ध्यान की अतल गहराइयों में उतरने में इसके उपयोग के बारे बताया। उन्होंने बड़े आकर्षक रूप से लोगों को जलनेति व सूत्रनेति का अभ्यास करके भी दिखाया जिसकी काफ़ी प्रशंसा की गयी।
तदुपरान्त, जमशेदपुर के जाने माने योग प्रशिक्षक श्री देवाशीष जी ने योग पर अपने विचार रखे व उनकी मूक बधिर बच्चों की टीम ने जो एक के बाद एक योगासनों का मोहक प्रदर्शन किया उसने लोगों को यह सोचने पर विवश कर दिया कि ज़ब ये दिव्यांग बच्चे इतनी सरलता से योग कर सकते है तो हम क्यों नहीं!
तत्पश्चात् उपस्थित लोगों को प्रख्यात योगी डॉ अनिल रॉय जी का सान्निध्य भी प्राप्त हुआ जिन्होने योग के सम्बन्ध में रोचक जानकारी के साथ-साथ अनेक व्यवहारिक टिप्स भी बताये।
इसी बीच, जयंती ओझा जी के नेतृत्व में उपस्थित सत्संग मंडली द्वारा एक से बढ़कर एक आर्ट ऑफ़ लिविंग के भजनों की जो सुमधुर प्रस्तुति दी गयी उसने लोगों को भक्तियोग से सराबोर कर दिया व लोग भक्तिभाव से आनंद विभोर होकर झूमने उठे।
इस तरह यह कार्यक्रम काफ़ी यादगार व उपयोगी साबित हुआ जिसकी लोग मुक्तकंठ से सराहना कर रहे हैं।
कार्यक्रम का समापन इस कार्यक्रम के संयोजक सह आर्ट ऑफ़ लिविंग के वरीय प्रशिक्षक श्री नवीन कुमार चौरसिया जी द्वारा धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ।
कार्यक्रम में जमशेदपुर विमेंस कॉलेज के योग विभागध्यक्ष डॉ साहू जी का सराहनीय सहयोग रहा। साथ ही, जमशेदपुर के कई कारपोरेट हॉउस के लोग भी इसमें शामिल हुए व उन्होंने अपने-अपने प्रतिष्ठानों में योग के प्रचार-प्रसार में बढ़-चढ़कर योगदान देने का संकल्प भी लिया।
कार्यक्रम के सफल संचालन में विशेषकर आर्ट ऑफ़ लिविंग के वरीय प्रशिक्षक सर्व श्री केशव पटेल, संजय गोयल, वंदना सिंह, शीला सतीश व सरला देवी जी का योगदान अत्यंत सराहनीय रहा।


