जमशेदपुर।
बहरागोड़ा प्रखंड अंतर्गत पाथरा पंचायत के पाथरा चौक में रविवार को स्वर्गीय द्विजेन कुमार षडंगी (कुनु बाबू) का मुर्ति अनावरण समारोह आयोजित हुई. मुख्य अतिथि के रूप में पूर्व मुख्यमंत्री अर्जुन मुण्डा शामिल हुए. अर्जुन मुंडा पहुंचने पर जोरदार स्वागत किया गया. उसके बाद मूर्ति अनावरण समारोह आयोजित हुई.स्वर्गीय द्विजेन कुमार षडंगी के मूर्ति पर मुख्य अतिथि समेत तमाम लोगों ने माला पहनाया.उसके बाद सभी अतिथि मंच की और बढ़ गए.मंच में सभी अतिथियों का पुष्पगुच्छ और शाल देकर स्वागत किया गया.
इस अवसर पर मुख्य अतिथि पूर्व मुख्यमंत्री अर्जुन मुंडा ने उपस्थित सभी लोगों के साथ श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए आत्मा शांति के लिए 2 मिनट मौन रखा. इस अवसर पर उन्होंने कहा समाजसेवी जो साइलेंट कर्मी के रूप में समाज के सेवा में निरंतर लगे रहे. क्षेत्र के सेवा में लगातार लग रहे एक अधिवक्ता के रूप में कैसे मिले वह सुनिश्चित करने के लिए गरीबों की आवाज न्यायालय में बंद करके हमेशा ऐसे बेजुबानों का जुबान बना करके न्याय दिलाने का काम किया.
उनके मूर्ति अनावरण पर यहां इतनी,भारी संख्या में लोग उपस्थित है. कई बार कई स्थानों पर कई ऐसे कार्यक्रमों में जाता हूं लेकिन जिस तरीके से यहां पर आज इतनी बड़ी संख्या में उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित करने के लिए लोग आये हैँ. उनके पति सच्ची श्रद्धांजलि का सबूत है.
मैं यह मानता हूं कि यह दर्शाता है कि कुनु बाबू साइलेंट कर्मी के रूप में काम करते हुए किस तरीके से लोगों के हृदय पोर्टल पर अपना स्थान बनाया था. मेरे आखिरी मुलाकात वह एक दिन ऐसे संजोग से उन्होंने फोन किया और मुझे कहा कि आप कहां है मैंने कहा मैं जमशेदपुर में जमशेदपुर में कहां है तो मैंने कहा घर में और वह सीधे चले आए उसके बाद एक घंटा तक बातचीत हुई. उसके बाद जो हमने सूचना मिला बड़ा दुखत था.शुरुआती दिनों में उनके राजनीतिक गुरु श्री बीजू पटनायक जी रहे जिनके सानिध्य में उन्होंने समाजसेवा के गुर सीखे.अपनी पढ़ाई पूरी कर वे अपने पैतृक गांव झारखंड के पूर्वी सिंहभूम जिला स्थित गन्डानाटा आए जहां उन्होंने मुखिया चुनाव में हिस्सा लेकर विजयी हुए तथा अगले 29 सालों तक मुखिया रहे.इस दौरान क्षेत्र के गरीब तथा वंचितों की आवाज बनकर खड़े हुए. न सिर्फ बहरागोड़ा विधानसभा बल्कि पूरे जिले के ग्रामीण क्षेत्र में सभी के चहेते बन गए.जिस वजह से जनता के साथ खासकर ग्रामीण क्षेत्र तथा आदिवासी क्षेत्र की जनता के साथ वे बहुत आसानी से जुड़ जाते थे. उनके राजनीतिक सफर में सबसे बड़ी शक्ति संथाल समाज थी.
स्वर्गीय कुनु बाबू का सुपुत्र ऋषि षडंगी का इतिहास:
ऋषि षडंगी, 25 सालों तक मिडिया इंडस्ट्री में काम किया, यहां आने से पहले डिज्नी हॉटस्टार के शीर्ष पद पर काम कर रहा था परंतु उनके पिता के प्रति लोगों के प्यार और समर्पण को देखकर उनके काम को आगे बढ़ाने का फैसला किया.मैं वर्तमान में भाजपा से जुड़कर क्षेत्र की जनता के लिए काम कर रहे हैँ.
कुनु बाबू जा जन्म 10 नवंबर 1951 को हुआ था तथा उनका निधन 19 दिसंबर 2022 को हुआ था.ओड़िशा के खिचिंग से पत्थर लाकर बहरागोड़ा के मिस्त्री द्वारा स्वर्गीय द्विजेन कुमार षडंगी का मूर्ति बनाया गया है.
मौके पर जिला अध्यक्ष चंडी चरण साहू,संसद के पुत्र कुणाल महतो, स्वर्गीय कनु बाबू के पत्नी सुस्मिता सारंगी, पुत्री रुचि सारंगी,गौरब पुष्टि, प्रबोध रंजन दास, अजय साह,सुनीता देबदूत सोरेन,दिनेश साहू,फूलमानी मुर्मू, राधि मुर्मू, परमेश्वर हेंब्रम, चंद्र मोहन मंडी, आशुतोष मिश्रा, मनोज गिरी, आनंद अग्रवाल, चितरंजन महापात्र, रामनाथ सिंह, धनेश्वर मुर्मू समेत हजारों लोग उपस्थित थे.


