जमशेदपुर -निर्मल सिंह खालसा का निधन कौम को अपूरणीय क्षति

87

जमशेदपुर। देश के चौथे सबसे बड़े सम्मान पदमश्री से अलंकृत एवं सिख कौम के महान कीर्तनी निर्मल सिंह खालसा का निधन कौन के लिए अपूरणीय क्षति है। पदम श्री निर्मल सिंह खालसा के निधन पर फकत श्री हरिमंदिर साहिब प्रबंधन कमेटी पटना के उपाध्यक्ष सरदार इंद्रजीत सिंह ने शोक जताते हुए कहा कि काम में ऐसा नायाब हीरा पैदा होना बहुत मुश्किल है। कोई दूसरा उनका स्थान नहीं ले सकता है। श्री गुरु ग्रंथ साहिब जी में वर्णित 31 सांस्कृतिक रागों कि उन्हें समझ और कीर्तन हमेशा रात में ही किया करते थे। पटना तखत के साथ ही सभी पांचों तख्तों एवं दुनिया के 71 देशों में उन्हें कीर्तन करने का श्रेय प्राप्त रहा है
पूरा जीवन उन्होंने कौम के लिए समर्पित कर दिया था। वे गुरु नानक नाम लेवा संगत को अपनी निर्मल वाणी से परम पिता परमेश्वर से जोड़ते रहे और सिखों के महान गुरु तथा निराकार ब्रह्म के उपासक कबीर जी, रामानंद जी, रविदास जी, बाबा फरीद जी की वाणी के माध्यम से लोगों के जीवन को सफल करते रहे। इसी क्रम में ही फरवरी में वे इंग्लैंड में अपनी सेवाएं दे रहे थे और कोरोना की चपेट में आ गए।
इंदरजीत सिंह ने बताया कि उन्होंने श्री अकाल तख्त के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह तथा शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के प्रधान सरदार संत सिंह लोंगोवाल से आग्रह किया है कि निर्मल सिंह खालसा की आत्मा की शांति के लिए गुरु नानक नाम लेवा संगत को अपील जारी करें कि रविवार को अपने-अपने घरों में जपुजी साहब का पाठ कर अरदास करें।
समस्त मानव जाति को इस कोरोना से मुक्ति दिलाने का भी अरदास रोज संगत किया करें।

Comments are closed.

This website uses cookies to improve your experience. We'll assume you're ok with this, but you can opt-out if you wish. Accept Read More