– लोहरदगा-लातेहार सीमा पर प्राथमिक उपचार के बाद रांची स्थित मेडिका लाए गए थे, यहीं पर हुई मौत
– रेड डालने जा रहे थे पलामू, घुमावदार मोड़ पर पलट गया था टाटा सूमो, ड्राइवर और अंगरक्षक जवान सुरक्षित
रांची।
एंटी करप्शन ब्यूरो (एसीबी) में पदस्थापित अवर पुलिस अधीक्षक आनंद जोसेफ तिग्गा की मौत सड़क दुर्घटना में हो गई। मेदिनीनगर जाने के क्रम में लोहरदगा-लातेहार सीमा पर वे दुर्घटना में बुरी तरह घायल हो गए थे। बताया जा रहा है कि तिग्गा पुलिस दल के साथ पलामू में कहीं छापेमारी करने जा रहे थे। रास्ते में घुमावदार कुडू मोड़ पर उनकी गाड़ी टाटा सुमो पलट गई। सूमो में आगे बैठे एएसपी आनन्द जोसेफ तिग्गा का सर्वाधिक चोट लगी। उनके चेहरे और सिर पर चोट जानलेवा बनी। प्रारंभिक उपचार के बाद उन्हें रांची स्थित सुपरस्पेशलिटी मेडिका हॉस्पिटल लाया गया जहां प्राथमिक तौर पर बताया गया कि उनकी स्थिति गंभीर है और उन्हें हर्ट अटैक आया है। डॉक्टरों ने उन्हें बचाने की भरपूर कोशिश की लेकिन वो बच नहीं सके।
इसके पूर्व सुबह रांची से टाटा सूमो से अपने चालक राजेश गुडिय़ा (आरक्षी) एवम् दो अंगरक्षकों के साथ एएसपी मेदनीनगर के लिए निकले थे। राष्ट्रीय उच्चपथ 75 (32) पर कुडू-चंदवा पथ में पचंबा मोड़ के समीप उनकी गाड़ी अनियंत्रित होकर पलट गई। वाहन के चारों चक्के ऊपर हो गए और आगे का हिस्सा बुरी तरह से चूर हो गया। वाहन में सवार अंगरक्षकों ने घायल एसपी को वाहन से बाहर निकाला और जल्दबाजी में रास्ते से गुजर रहे निजी वाहन से चंदवा ले गए। चंदवा में प्राथमिक उपचार के बाद एम्बुलेंस से गम्भीर रूप से घायल एसपी को रांची लाया गया। रास्ते में कुडू सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में कॉटन व दवाइयां लेने के साथ चल रहे चिकित्सक रुके भी। उन्हें सांस लेने में तकलीफ हो रही थी, सो आक्सीजन सिलेंडर की भी व्यवस्था की गई। दुर्घटनाग्रस्त वाहन के चालक राजेश गुडिय़ा (आरक्षी) ने बताया कि पचम्बा मोड़ के समीप तीव्र घुमावदार मोड़ पर उनका नियंत्रण गाड़ी पर नहीं रहा और गाड़ी पलट गई। रांची में मौत के बाद वरीय अधिकारी मौके पर पहुंचे और उनके परिजनों को भी सूचित कर दिया गया है।

वही मुख्यमंत्री रघुवर दास ने ACB के ASP श्री आनंद जोसेफ तिग्गा की सड़क हादसे में हुई मौत पर शोक जताया है। उन्होंने मृतक के परिजनों के प्रति सवेदना जताई है। साथ ही कहा है की इस दुःख की घड़ी में पूरी सरकार उनके साथ है। स्वर्गीय तिग्गा की गिनती अच्छे अफसरों में की जाती थी।
